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अग्नि-5 का नया अवतार, जानिए कितना खतरनाक है भारत की नई 'बंकर बस्टर' मिसाइल, जिसे लेकर टेंशन में आया पाकिस्तान-चीन

भारत अब 'बंकर बस्टर' मिसाइल के नए अवतार पर काम कर रहा है, जो 7,500 किलो बम ले जाने में सक्षम होगा. DRDO द्वारा विकसित यह अग्नि-5 का नया संस्करण चीन और पाकिस्तान की भूमिगत मिलिट्री सुविधाओं को नष्ट करने में भारत को सामरिक बढ़त देगा. हालिया इज़राइल-ईरान संघर्ष और अमेरिकी हस्तक्षेप के बाद भारत ने इस दिशा में तेज़ी से कदम बढ़ाया है.

Agni 5 Bunker Buster Missile: हाल के हफ्तों में ईरान और इज़राइल के बीच चले टकराव ने वैश्विक सैन्य रणनीतियों में नई दिशा दी है. अमेरिका द्वारा इस संघर्ष में अपनी भागीदारी, विशेष रूप से हवाई हमलों में प्रिसिशन गाइडेड हथियार और 'बंकर बस्टर' बमों के उपयोग ने दुनिया भर के रक्षा विशेषज्ञों का ध्यान खींचा है.

भारत अब इस तकनीक को गंभीरता से लेते हुए अपने ‘बंकर बस्टर प्रोग्राम’ को गति दे रहा है और इसका सबसे बड़ा उदाहरण है — DRDO द्वारा विकसित किया जा रहा अग्नि-5 मिसाइल का नया घातक संस्करण.

अग्नि-5 का नया अवतार: परमाणु नहीं, पारंपरिक विनाश के लिए

अग्नि-5 अब तक एक परमाणु क्षमता संपन्न अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) के रूप में जानी जाती रही है, जिसकी रेंज 5,000 किलोमीटर से अधिक है लेकिन अब DRDO इसका एक नया वर्जन तैयार कर रहा है, जिसमें परमाणु नहीं बल्कि 7,500 किलोग्राम का पारंपरिक बंकर-बस्टर वारहेड लगाया जाएगा.

यह विश्व के सबसे भारी बंकर बस्टर हथियारों में एक माना जाएगा, जिससे भारत को किसी भी दुश्मन के भूमिगत सैन्य ढांचों को तबाह करने में सक्षम बनाया जा सकेगा.

बंकर बस्टर मिसाइल कैसे काम करती है?

बंकर बस्टर मिसाइलें सामान्य मिसाइलों से अलग होती हैं. ये:

वज़न में भारी होती हैं ताकि ज़मीन में गहराई तक घुस सकें.

हाई-डेंसिटी और हार्डनड केसिंग से बनी होती हैं जो इनकी संरचना को मज़बूत बनाती हैं.

इनकी नोज़ कोन (सिरा) बेहद मज़बूत होता है, जिससे ये कई मीटर मोटी कंक्रीट या चट्टान को भेद सकती हैं.

मिसाइल में लगा डिले-फ्यूज समय के साथ वारहेड को अंदर फटने के लिए प्रोग्राम करता है, जिससे अंदर ही अंदर पूरा ढांचा ढह जाता है.

इस मिसाइल के युद्धक और रणनीतिक उपयोग

अग्नि-5 का नया संस्करण सिर्फ एक मिसाइल नहीं, बल्कि रणनीतिक दबदबे का प्रतीक बनेगा. इसकी प्रमुख उपयोगिता होगी:

1. कमांड और कंट्रोल सेंटर को नष्ट करना: दुश्मन के भूमिगत नेतृत्व ठिकानों को खत्म करने की क्षमता.

2. मिसाइल साइलो तबाह करना: दुश्मन की बैलिस्टिक मिसाइलों के लॉन्च से पहले ही उन्हें खत्म करना.

3. गुप्त हथियार भंडार को उड़ाना: बम, ईंधन, या जैविक हथियारों के भंडारों को खत्म करना.

4. एयर डिफेंस नेटवर्क को ध्वस्त करना: दुश्मन के भूमिगत रडार बेस को निष्क्रिय करना.

भारत के लिए रणनीतिक फायदे

1. पाकिस्तान के खिलाफ बढ़त

पाक सेना कई गोपनीय अंडरग्राउंड बंकर और न्यूक्लियर मिसाइल साइलो चलाती है. अग्नि-5 का यह वर्जन उन्हें खतरे में डाल सकता है. दुश्मन की प्रतिक्रिया क्षमता को प्रारंभिक हमले में ही खत्म करना संभव हो सकता है.

2. चीन के खिलाफ सामरिक बढ़त

चीन ने लद्दाख, तिब्बत और अरुणाचल के पास भूमिगत मिसाइल सिस्टम और कमांड पोस्ट बना रखे हैं. हिमालयी युद्ध क्षेत्र में ऐसी मिसाइल भारत को निर्णायक बढ़त दे सकती है.

3. मनौवैज्ञानिक प्रभाव (Deterrence)

दुश्मनों को यह एहसास होगा कि भारत अब सिर्फ परमाणु बटन तक सीमित नहीं है, बल्कि वह पारंपरिक हथियारों से भी उनके सबसे सुरक्षित ठिकानों को ध्वस्त कर सकता है.

ऑपरेशन सिंदूर: भारत की जागरूकता का संकेत

अमेरिका-ईरान-इज़राइल के संघर्ष के बीच भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के जरिए अपनी सतर्कता और क्षमता का प्रदर्शन किया है. यह ऑपरेशन एक तरह से भारत के तेज़ी से बदलते रक्षा दृष्टिकोण और भविष्य के खतरों के लिए तैयार रहने का प्रतीक है.

नई तकनीक, नया भारत

भारत अब सिर्फ रक्षात्मक रणनीति से नहीं चल रहा, बल्कि वह आक्रामक प्रतिरोध और रणनीतिक बढ़त के लिए तैयार हो रहा है. अग्नि-5 बंकर बस्टर का यह संस्करण न केवल तकनीकी श्रेष्ठता का प्रतीक होगा, बल्कि यह भारत की डिटरेंस (निवारक शक्ति) को एक नए स्तर पर ले जाएगा. यह सिर्फ एक मिसाइल नहीं है, यह भारत का संदेश है, अब कोई भी दुश्मन सुरक्षित नहीं.

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